मोक्षदा एकादशी / गीता जयंती ३.१२.२२ Gita Mahotsav 3.12.2022

यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत।

अभ्युत्थानमधर्मस्य तदात्मानं सृजाम्यहम्।।

(जीवन में आने वाली विपरीत परिस्थितियों में हौसला दिलानेवाला श्रीमद्भगवद्गीता श्लोक)

भगवान श्रीकृष्ण ने संसार को गीता के ज्ञान रूप में अपनी विशेष कृपा प्रदान की है। मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को गीता जयंती मनाई जाती है.

Gita Mahotsav is an event centred around the  Bhagavad Gita, celebrated on the Shukla  Ekadashi, the 11th day of Margashirsha the  waxing moon of the  (Agrahayan) month of the Hindu calendar. It is believed the Bhagavad Gita was revealed to Arjunaby Krishna in the battlefield of Kurukshetra.

One thought on “मोक्षदा एकादशी / गीता जयंती ३.१२.२२ Gita Mahotsav 3.12.2022

  1. आत्मा की दृष्टि प्रत्येक मनुष्य पर है
    मानो आत्मा केवल एक व्यक्ति के लिए वर्तमान में उसके लिए थी
    देवता, एक मानव आविष्कार, यह नहीं जानना चाहते हैं कि वे आत्मा के कमल से पैदा हुए थे

    Like

Leave a comment