सुबह की शीतल बयार
कानों में कुछ कह रही थी …,..
उन पर भरोसा मत करो
जो दिलों को तकलीफ़ देते हों,
अपने वो हैं जो
पल भर का भी सुकून दे ,
हौसला , तस्सली दे .

जिंदगी रोज़ नया कुछ सिखाती है, बशर्ते हम सीखना चाहें।
सुबह की शीतल बयार
कानों में कुछ कह रही थी …,..
उन पर भरोसा मत करो
जो दिलों को तकलीफ़ देते हों,
अपने वो हैं जो
पल भर का भी सुकून दे ,
हौसला , तस्सली दे .
